झारखंड कांग्रेस प्रभारी अविनाश पांडेय के बयान से सियासी हलचल तेज होना तय है। दरअसल, धनबाद में आयोजित एक कार्यक्रम में शुक्रवार को अविनाश पांडेय ने कहा कि कांग्रेस पार्टी झारखंड में 9 लोकसभा सीटों पर लड़ी थी और इस बार भी उतने ही सीटों पर लड़ेगी। गौरतलब है कि पहले भी कांग्रेस नेताओं की ओर से झारखंड में खुद को बड़ा भाई बताने के दावों के बीच प्रभारी का बयान काफी महत्वपूर्ण कहा जा रहा है। इस बीच झारखंड मुक्ति मोर्चा ने प्रभारी के बयान को व्यक्तिगत राय बताया है।
गठबंधन तय करेगा सीटों का बंटवारा!
कांग्रेस महासचिव सुप्रियो भट्टाचार्य ने कहा कि हमारा गठबंधन है और ऐसे बयानों से फर्क नहीं पड़ता। सीटों का बंटवारा गठबंधन की कमिटी तय करेगी। इरफान अंसारी के पूर्व में दिए गए बयानों पर उन्होंने कहा कि कांग्रेस के नेता हैं, वह कहेंगे ही। दूसरी ओर पार्टी प्रवक्ता विनोद पांडेय ने कहा कि अविनाश पांडेय ने जो कहा वह गठबंधन का नहीं बल्कि कांग्रेस पार्टी का बयान है। कांग्रेस पार्टी यह दावा कर सकती है लेकिन गठबंधन की कमिटी सबकुछ तय करेगी। उन्होंने कहा कि गठबंधन के बीच सीटों के बंटवारे को लेकर बनी कमिटी में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन हैं। वह सीट बंटवारे को लेकर फैसला लेने के लिए अधिकृत हैं।
झारखंड में कौन सी पार्टी है बड़ा भाई?
बता दें कि गुरुवार को प्रेस वार्ता में बड़ा भाई होने के बयान पर विनोद पांडेय ने कहा कि मैंने कहा था कि झारखंड में झारखंड मुक्ति मोर्चा बड़ा भाई है। सियासी गलियारों में चर्चा है कि विनोद पांडेय के बयान पर ही अविनाश पांडेय ने पलटवार किया है।