पलामू। उपायुक्त शशि रंजन की अध्यक्षता में नीति आयोग के आकांक्षी प्रखंड हरिहरगंज में बुधवार को चिंतन शिविर का आयोजन किया गया। शिविर में प्रखंड के विकास के लिए रणनीति बनाने पर चर्चा हुई। भारत सरकार द्वारा आकांक्षी प्रखंड कार्यक्रम अंतर्गत झारखंड के 34 प्रखंडों का चयन किया गया है, उनमें हरिहरगंज प्रखंड भी शामिल है।

डीसी ने कहा कि आकांक्षी प्रखंड हरिहरगंज के सर्वांगीण विकास के लिए मंथन की आवश्यकता है। चयनित प्रखंडों में चिंतन शिविर का आयोजन कर ब्लॉक डेवलपमेंट स्ट्रेटेजी भी तैयार किया जाना है, उसी के निमित्त चिंतन शिविर का आयोजन किया गया, वहीं चिंतन शिविर में मुख्य रूप से ब्लॉक डेवलपमेंट स्ट्रेटेजी बनाने पर चर्चा की गयी।

उपायुक्त शिविर के उद्देश्य के बारे में बताया कि नीति आयोग द्वारा देशभर में आकांक्षी प्रखंड के रूप में कुल 500 प्रखंड का चयन किया गया है, उनमें झारखंड के कुल 34 प्रखंड शामिल हैं। उनमें पलामू जिले का हरिहरगंज प्रखंड भी आकांक्षी प्रखंड के रूप में शामिल है।

उन्होंने कहा कि हरिहरगंज प्रखंड में संसाधन की कोई कमी नहीं है। हमें उस पर बेहतर कार्य करने की आवश्यकता है। प्रखंड का सर्वांगीण विकास कैसे हो, इस पर हमें, मंथन करने की आवश्यकता है। उपायुक्त ने कहा कि हरिहरगंज प्रखंड का सर्वांगीण विकास के लिए नीति आयोग द्वारा 39 इंडिकेटर निर्धारित किए गए हैं, उनमें हमें बेहतर कार्य कर प्रखंड का सर्वांगीण विकास सुनिश्चित कराना है। हेल्थ एवं न्यूट्रिशन सेक्टर के 14 इंडिकेटर, एजुकेशन से 11 इंडिकेटर, एग्रीकल्चर एवं एलाइड सर्विसेज से 5 इंडिकेटर, बेसिक इंफ्रास्ट्रक्चर से 5 इंडिकेटर एवं सोशल डेवलपमेंट से 4 इंडिकेटर पर कार्य करना है। इस प्रकार हम 39 इंडिकेटर पर बेहतर कार्य करके हरिहरगंज प्रखंड को पूरे राज्य व देशभर में एक अलग पहचान दिला सकते हैं।

इस कार्य के लिए हमें स्थानीय जनप्रतिनिधियों के सहयोग की काफी अपेक्षा है। सरकार द्वारा संचालित योजनाओं को क्षेत्र के शत प्रतिशत लाभुकों तक पहुंचने में जनप्रतिनिधि महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। उपायुक्त ने शिक्षा विभाग के क्रियाकलाप पर नाराजगी जताते हुए बीइइओ रामनरेश राम को बैठक से बाहर कर दिया, वही मनरेगा बीपीओ धर्मेंद्र कुमार द्वारा पौधा रोपण का लक्ष्य पूरा नहीं करने के कारण एक सप्ताह का वेतन काटने का आदेश दिया।

चिंतन शिविर में शिक्षा, कृषि, बाल विकास, जेएसएलपीएस, स्वास्थ्य, मनरेगा, पशुपालन विभाग के कार्यों की समीक्षा की गयी।

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